जर्नलिस्ट काउंसिल ऑफ इंड़िया ने पत्रकार मनदीप पूनिया और धर्मेंद्र सिंह (ऑनलाइन न्यूज इंडिया के साथ) के खिलाफ पुलिस कार्यवाही की निंदा की,जिन्हे दिल्ली पुलिस 30 जनवरी शाम को सिंधू बॉर्डर किसान विरोध स्थल से उठाकर ले गयी थी । जहां बाद में धर्मेंद्र सिंह को तो रिहा कर दिया गया, वहीं मनदीप अभी भी पुलिस हिरासत में है । मनदीप पूनिया एक स्वतंत्र पत्रकार हैं, जो कारवां और जंपुत में योगदान देते हैं। दिल्ली पुलिस ने मनदीप को उठाते समय क्रूर बल का इस्तेमाल किया और पूरी रात अपने ठिकाने को अन्य मीडिया सहयोगी को साझा नहीं किया । मनदीप के खिलाफ एफआईआर की कॉपी आज सुबह ही जारी कर दी गई।
उसके खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। मनदीप शुरू से ही वर्तमान किसानों के आंदोलन पर कवरेज कर रहे थे और उनकी गिरफ्तारी पत्रकारों पर सरकार की कार्यवाही का हिस्सा है जिससे उन्हें स्वतंत्र और स्वतंत्र रूप से अपना काम करने से रोका जा सके । इसी के साथ दिल्ली पुलिस ने यह मुकदमा दर्ज करके अन्य पत्रकारो को भी एक तरह से चेतावनी दी है।जर्नलिस्ट काउंसिल ऑफ इंड़िया ने मांग की है कि मनदीप को तुरंत रिहा किया जाए। जर्नलिस्ट काउंसिल ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष अनुराग सक्सेना ने कहा कि यह चौथे स्तंभ पर हमला है। घटना की सही जानकारी को समाज तक पहुंचाना हर पत्रकार का दायित्व है। और पत्रकार अपना काम कर रहा था न कि सरकारी काम मे बाधा बन रहा था।
मनदीप पर हुई कार्यवाही की अन्य पत्रकार संगठनो ने भी निंदा की है।